Unregularized Madrasa UP: यूपी में अनियमित मदरसा छात्रों को मिलेगी आधुनिक शिक्षा, उत्तर प्रदेश सरकार ने उठाया ये कदम 

राज्य के अल्पसंख्यक कल्याण एवं वक्फ मंत्री धर्मपाल सिंह ने अपने विभाग के अधिकारियों को एक्ट में संशोधन का प्रस्ताव लाने का निर्देश दिया है. 
 
Unregularized Madrasa
Madarsa Madinatul Uloom | Facebook Profile

Unregularized Madrasa Students In UP: उत्तर प्रदेश सरकार उत्तर प्रदेश आशाकिया अरबी-फ़ारसी विनियामावली, 2016 में संशोधन के साथ एक प्रस्ताव लाने की योजना बना रही है, ताकि अनियमित मदरसा छात्रों को आधुनिक शिक्षा तक पहुंच मिल सके. राज्य के अल्पसंख्यक कल्याण एवं वक्फ मंत्री धर्मपाल सिंह ने अपने विभाग के अधिकारियों को एक्ट में संशोधन का प्रस्ताव लाने का निर्देश दिया है. 

क्या बोले अल्पसंख्यक कल्याण एवं वक्फ मंत्री 

उन्होंने कहा 'राज्य सरकार का उद्देश्य है कि अल्पसंख्यक समुदाय के छात्र धार्मिक शिक्षा के साथ-साथ विज्ञान सहित आधुनिक शिक्षा के माध्यम से मुख्यधारा में शामिल हो सकें, ताकि उनका सर्वांगीण विकास सुनिश्चित हो सके'. उन्होंने आगे कहा कि 'मदरसों में व्यावसायिक प्रशिक्षण और कंप्यूटर शिक्षा को प्रभावी ढंग से लागू किया जाना चाहिए'. वर्तमान में, उत्तर प्रदेश में 16,513 सरकारी वित्त पोषित नियमित मदरसे और 8,449 गैर-मान्यता प्राप्त या अनियमित मदरसे हैं.

मदरसा बोर्ड के अध्यक्ष ने राज्य सरकार को  भेजा लिखित प्रश्न 

इस बीच, यूपी मदरसा बोर्ड के अध्यक्ष इफ्तिखार अहमद जावेद ने राज्य सरकार को एक लिखित प्रश्न भेजकर पूछा है कि गैर-मान्यता प्राप्त मदरसों के लिए क्या किया जाना चाहिए, क्योंकि उनके मालिक उन्हें सरकारी मान्यता देने के लिए बोर्ड पर दबाव डाल रहे थे.

गैर मान्यता प्राप्त मदरसा मालिकों को उम्मीद थी कि सरकारी सर्वेक्षण के बाद उन सभी को बोर्ड से मान्यता और संबद्धता दी जाएगी, लेकिन अब उनका आरोप है कि उनके साथ धोखा किया गया है। इफ्तिखार ने कहा, अगर गैर-मान्यता प्राप्त मदरसे को संबद्धता नहीं मिल रही है तो वे सरकारी मानदंडों का पालन क्यों करेंगे। उन्होंने कहा, 'गैर-मान्यता प्राप्त मदरसा मालिकों ने कई बार व्यक्त किया है कि वे धार्मिक शिक्षाओं के साथ-साथ कंप्यूटर और विज्ञान भी लागू करना चाहते हैं, लेकिन उन्हें सरकार के समर्थन की आवश्यकता है'. 
 

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