Kajari teej katha: आज के दिन जरूर सुनें शिव-पार्वती के पुनर्मिलन की कथा, दांपत्य जीवन में आएंगी खुशियां

कजरी तीज का त्योहार विशेष तौर पर राजस्थान, उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश के शहरों में मनाया जाता है.
 
Kajari teej katha
Image Credit:- freepix

Kajari teej katha: हिंदू धर्म में तीज का पर्व विशेष तौर पर सुहागिन महिलाओं को समर्पित है. तीज वाले दिन सुहागिन महिलाएं अपने पति की दीर्घायु और सफलता की कामना हेतु भगवान शिव और माता पार्वती के व्रत का पालन करते हैं. हिंदू कैलेंडर के मुताबिक तीन प्रकार की तीज मनाई जाती है. जिनमें बीते महीने हमने हरियाली तीज का पर्व मनाया था और आज कजरी तीज मनाई जाएगी.

कजरी तीज का त्योहार विशेष तौर पर राजस्थान, उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश के शहरों में मनाया जाता है. कजरी तीज वाले दिन आप यदि अपने दांपत्य जीवन में खुशियों का आगमन होते देखना चाहते हैं, तो आपको अवश्य ही इस दिन भगवान शिव और माता पार्वती के पुनर्मिलन की कथा का पाठ करना चाहिए.

ऐसा कहा जाता है कि जो भी सुहागिन महिला तीज वाले दिन पार्वती की कथा पढ़ती है, उनके दांपत्य जीवन में सुख बरकरार रहता है. भगवान शिव और पार्वती की कथा के बारे में आगे हम आपको इस लेख के जरिए बताएंगे.

भगवान शिव और माता पार्वती के पुनर्मिलन की गाथा

पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, एक बार भगवान शिव ने माता पार्वती को उनके पूर्व जन्म के बारे में बताया था. इस दौरान उन्होंने कहा था कि देवी पार्वती ने भगवान शिव को पाने के लिए घोर तपस्या की थी, लेकिन इस दौरान भगवान विष्णु का संदेश लेकर देवर्षि नारद तुम्हारे पिता के पास पहुंचे.

देवर्षि नारद ने तुम्हारे पिता से कहा कि भगवान विष्णु आपकी पुत्री के साथ करना चाहते हैं. जिस पर तुम्हारे पिता ने हामी भर दी. ऐसे में जब यह समाचार तुम्हें मिला तब तुम बेहद परेशान हो गई, क्योंकि तुम अपने मन में मुझे अपना पति मान चुकी थी. जिस वजह से तुम अपने पिता से छुपकर एक गुफा में चली गई और जहां तुमने मेरी बहुत दिनों तक तपस्या की.

हालांकि एक दिन तुम्हारे पिताजी ने तुम्हें ढूंढ लिया, लेकिन जब तुमने उन्हें यह बताया कि तुम शिव को अपना पति मान चुकी हूं. तब तुम्हारे पिता ने विधि-विधान से हमारा विवाह संपन्न कराया. तब से तीज के दिन जो भी महिला विधि-विधान से व्रत का पालन करती है और इस कथा का पाठ करती है. उस महिला को दांपत्य जीवन में खुशियां और शिव जी जैसे पति की प्राप्ति होती है.

ये भी पढ़ें:- इस वजह से भगवान शिव को निगल गई थी माता पार्वती, और लिया था धूमावती अवतार

Tags

Share this story

More on this story

Latest News

Must Read

Don't Miss